यूपी-बिहार बार्डर पर कोलकाता जा रही कछुओं की बड़ी खेप बरामद

चंदौली
शक्तिवर्धक दवाओं के साथ पड़ोसी देशों में डिश के रूप में परोसने के लिए कछुओं की तस्कारी थमने का नाम नहीं ले रही है। बीती रात को उत्तर प्रदेश के मैनपुरी जिले से कोलकाता ले जाई जा रही कछुओं की बड़ी खेप को वनविभाग के साथ यूपी एसटीएफ की टीम ने छापेमारी करके बरामद किया है। 20 बोरे में भरे कछुओं की गिनती जब वनविभाग के अधिकारियों ने की तो इनकी संख्या 678 निकली। बरादम कछुओं को गंगा में प्रवाहित कर दिया गया है।

यूपी से बिहार फिर पश्चिम बंगाल कछुओं को ट्रेन तथा भारी वाहनों से चोरी-छिपे करने वाले गिरोह के खिलाफ पिछले दिनों से अभियान चल रहा है। इसके तहत यूपीएसटीएफ को एक भारी ट्रक में बड़ी संख्या में कछुओं को ले जाने की सूचना मिलने के बाद रविवार की रात को वनविभाग से संपर्क करने के साथ पुलिस अग्रिम कार्रवाई में जुट गई।

एसटीएफ ने मिली सूचना के आधार पर नौबतपुर चेकपोस्ट में एक बड़ी ट्रक को पकड़ने के साथ तलाशी ली तो ट्रक के आधे हिस्से में दवा और आधे हिस्से में 20 बोरों में भरे रखे गए थे। इन कछुओं की गिनती हुई तो 678 कछुआ निकले। इन कछुओं के साथ पुलिस ने दो आरोपियों को भी गिरफ्तार किया है। वाराणसी के डीएफओ महाबीर कोजलगी ने बताया कि कछुओं की कोलकाता के रास्ते म्यांमार, भूटान और चीन तक तस्करी होती है।

चीन, म्यांमार, भूटान आदि देशों में कछुआ चाव से खाया जाता है। कछुए का नर्म मांस गर्म और शक्ति वर्धक माना जाता है। इसका उपयोग शक्तिवर्धक दवाइयों में भी किया जाता है। कछुआ तस्करी पर पूरी तरह अंकुश लगाने के लिए यूपीएसटीएफ के साथ यह कार्रवाई की गई है।

Source: International

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