नई दिल्ली : रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में रक्षा अधिग्रहण परिषद (डीएसी) ने दिनांक 23 फरवरी, 2021 को नई दिल्ली में भारतीय सेना, भारतीय नौसेना और भारतीय वायु सेना के लिए आवश्यक विभिन्न हथियारों/ प्लेटफार्मों/ उपकरणों/ आवश्यक प्रणालियों के पूंजी अधिग्रहण प्रस्तावों को मंजूरी दे दी है । 13,700 करोड़ रुपये की कुल लागत के लिए तीन एओएन को स्वीकृति प्रदान की गई । ये सभी एओएन रक्षा अधिग्रहण की सर्वोच्च प्राथमिकता श्रेणी में हैं अर्थात ‘बाय [इंडियन-आईडीडीएम (स्वदेशी रूप से डिजाइन, विकसित एवं निर्मित किया गया)] ।
इन सभी अधिग्रहण प्रस्तावों को स्वदेश में डिजाइन, विकसित और निर्मित किया जाएगा । इनमें अन्य उपकरणों के साथ साथ रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) द्वारा डिजाइन और विकसित किए गए प्लेटफॉर्म और सिस्टम शामिल होंगे ।
समयबद्ध रक्षा खरीद प्रक्रिया और तेजी से निर्णय लेने और पूंजी अधिग्रहण के लिए लिए गए समय को कम करने की दिशा में योजनाबद्ध तरीके से काम करने के लिए सरकार के आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्यों को पूरा करने के लिए रक्षा अधिग्रहण परिषद (डीएसी) ने यह भी मंजूरी दी कि डीएंडडी मामलों के अलावा सभी पूंजी अधिग्रहण अनुबंध (प्रत्यायोजित और गैर-प्रत्यायोजित) दो वर्षों में समाप्त किए जाएंगे । रक्षा मंत्रालय सेना के तीनों अंगों और सभी हितधारकों के परामर्श से इसे प्राप्त करने के लिए विस्तृत कार्ययोजना तैयार करेगा ।