प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी का अब हर सरकारी और प्राइवेट स्कूल पर दिखाई देगा। जीपीएस मैपर यंत्र के सहारे स्कूलों की जियो टैगिंग करने के लिए छह सदस्यीय टीम वाराणसी पहुंची है।
गलत जानकारी देकर वित्तीय मदद लेने की शिकायतें बढ़ने को देखते हुए स्कूलों की जीपीएस मैपिंग की कवायद केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने शुरू की है। गड़बड़ियों को रोकने के लिए मंत्रालय ने स्कूलों का जीआईएस (जियॉग्रफिकल इन्फॉर्मेशन सिस्टम) सर्वे भी शुरू कराया है। इसके प्रक्रिया के तहत पूरे देश के स्कूलों से जानकारी मांगी जा रही है। बाद में इसका थर्ड पार्टी वेरिफिकेशन भी होगा। इस प्रक्रिया में आम लोगों के सुझाव भी लिए जाएंगे।
वाराणसी में स्कूलों की जीपीएस मैपिंग करने के लिए वैज्ञानिक राजीव दीक्षित की अगुवाई में आए दल में वैज्ञानिक रमाकांत द्विवेदी, अजित कुमार, मयंक कुमार अमित सिंह, भास्कर कुमार शामिल हैं। इस दल ने अपना काम शुरू कर दिया है और अगले पांच महीने के अंदर स्कूलों की लोकेशन से लेकर बुनियादी ढांचे, शिक्षक की तैनाती, छात्रों की संख्या समेत अन्य सभी विवरण ऑनलाइन हो जाएगा।
ऐसे में सूचनाओं के ब्यौरे को कम्प्यूटर सिस्टम से लेकर स्मार्ट फोन आदि उपकरणों पर देखा जा सकेगा। बता दें कि वाराणसी में इससे पहले सार्वजनिक शौचालयों की गूगल मैपिंग हो चुकी है।
Source: UttarPradesh